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श्रवण कुमार योजना ट्रेनिंग प्रोग्राम बुजुर्गों के लिए साबित होगी संजीवनी : डाॅ. अनिल कुमार

टीएचटी रिपोर्टर पटना। एम्स पटना में श्रवण कुमार योजना ट्रेनिंग प्रोग्राम का शुभारंभ हो गया। इसका उद्घाटन पटना एम्स के ट्रामा इंचार्ज डाॅ. अनिल कुमार ने किया। डाॅ अनिल कुमार ने कहा कि श्रवण कुमार योजना ट्रेनिंग प्रोग्राम हर गांव में रहन वाले बुजुर्गों के लिए संजिवनी साबित होगी। पहला एक बैच में मंगलवार को 36 प्रतिभागी भाग लिये। जिसमें 30 पुरुष व छह महिला थीं। यह सभी आरा, पटना गया, छपरा समेत अन्य बिहार के जिलों के थे। श्रवण कुमार योजना ट्रेनिंग प्रोग्राम का मुख्य मक्सद है कि गांव में बुजुर्ग लोग रहते है उनके बच्चे नौकरी और रोजी रोटी को लेकर बाहर रहते हैं, उनके देख भाल के लिए कोई नहीं होता है, गांव में किसी तरह का बुजुर्ग को कोई समस्या आती भी है तो डाॅक्टर वहां नहीं होते है, दूर जाना पड़ता है, इसमें लोगों को परेषानियां भी होती है कभी कभार जान भी चली जाती है, तो ऐसे लोगों के विशेष देख भाल और इनका तत्काल उपचार हो इसको लेकर गांव के युवा, युवतियां, महिलाएं को श्रवण कुमार योजना ट्रेनिंग प्रोग्राम के तहत एक प्रषिक्षण दिया जा रहा है। यह प्रषिक्षण 120 दिनों का होगा। जिसमंे बीपी चेक करना, सुई देना, रिपोर्ट को समझना, सलाइन चढ़ाना, अगर किसी तरह का अचानक कोई परेषानी हुई, हार्ट अटैक आया, लकवा मारा तो कितने दिनों के अंदर उन्हें अस्पताल पहुंचाये, ऐसे मरीजों की कैसे पहचान किया जाये। इस तरह से बेसिक ट्रेनिंग देते हैं। इसकी परीक्षण दी जायेगी।


आज परीक्षण के बाद पहला दिन सभी से सहमति ली गयी है इस काम को सेवा भाव से अपने समाज में बुद्ध लोगों के लिए करने को तैयार है, इसको लेकर वह चार महिनों के लिए पटना एम्स में एक्सटेंसिक ट्रेनिंग करने में कोई अपति नहीं है। साथ ही अपति के लिए इसलिए कनसेंट लेते हैं कि इस ट्रनिंग के बाद एम्स पटना कोई जाॅब का आॅफर नहीं करता है, और ट्रेनिंग के दौरान जो रहने व खाने का खर्च होगा वह भी एम्स पटना पे नहीं देगी, एम्स पटना सिर्फ प्रषिक्षण देगी। एम्स पटना में जो प्रषिक्षण मिलेगा उसके लिए एम्स पटना न कोई पैसा लेगी न कोई पैसा देगी, चार महिना तक आठ बजे सुबह से पांच बजे शाम तक डिफरेंट-डिफरेंट डिपार्टमेंट में रहेंगे और प्रषिक्षण लेंगे, इस जगह पर बुजुर्गों से संबंधित जितने बीमारी है सभी का स्पेषलिस्ट जानकारियां दी जायेगी।


प्रषिक्षण हर तरह के लोग लेंगे। युवा, युवाती व जो भी हो, जिनके अंदर सेवा की भाव हो, सिखने का भाव हो, उन्हें पढ़ना लिखना आना चाहिए, वह स्वास्थ्य हों। मोबाइल चलाना जानता हो, कोई कम्पलेन लिखना हो, ईसीजी निकालना हो टेलीमेडिसियन के तहत वह कर पाये। ऐसे सभी लोगों को ट्रेंड करेंगे। एक्सटेंसिव ट्रेनिंग में वह सिखेगा कैसे ब्लड सुगर चेक करें,ब्रेंड हेमरेज में क्या-क्या फीचर होता है, किसी को ब्लड सुगर हाई हो गया, आवाज लड़खड़ाने लगे तो कैसे टाइमली एक्सन ले। ऐसे तमाम तरह की प्रषिक्षण दी जायेगी। यानि इमरजंेसी में लोगों को कैसे जान बचाना है, और बुद्ध लोगांे को कौमन समस्या है, सभी के बारे में जानकारी दी जायेगी। यानि उनलोगों के अंदर स्कील डेवलप करेंगे। इससे इनलोगों को फायदा यह भी होगा कि कही भी बाहर प्रषिक्षण लेकर जाॅब भी कर सकता है। जिन लोगों को प्रषिक्षण लेना चाहते हैं वह एम्स के काॅमनिटी आॅटरिच डिपार्टमंेट में एक आवेदन बस देना है, जिसमंे लिखना है मैं श्रवण कुमार योजना से इंट्रेस्टेड हूं, मैं श्रवण कुमार योजना का प्रषिक्षण लेना चाहता हूं, उसके बाद बृद्ध लोगों का सेवा करना चाहता हूं, इसके साथ मोबाइल नंबर, पता, आधार नंबर दे, वहीं जब-जब यह कोर्स की शुरूआत होगी, सभी को काॅल और वाट्सप के द्वारा सूचना दे दी जायेगी।